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नए तरीके से लोगों से की जा रही ऑनलाइन ठगी:एलईडी बल्ब बदलने के नाम पर लोगों से फिंगर प्रिंट लेकर खातों से कर रहे रकम पार

घरों में एलईडी बल्ब बदलने का झांसा देकर नए तरीके से लोगों से ऑनलाइन ठगी की जा रही है। छत्तीसगढ़ के कई जिलों में इस तरह की ठगी होने के बाद रायपुर की कई पॉश कॉलोनियों में इस तरह का ऑनलाइन फ्रॉड करने वाले पहुंच रहे हैं।

कॉलोनी के सुरक्षाकर्मियों ने भी इसकी पुष्टि की है। सायबर थाने के अफसरों ने भी इस मामले को लेकर अब अलर्ट जारी कर दिया है। इससे पहले कई उत्तरप्रदेश, मध्यप्रदेश की पुलिस ने भी इस तरह के नए फ्रॉड को लेकर सूचना जारी की है।

नेशनल क्राइम इंटेलिजेंस की ओर से इस संबंध में एक चिट्टी भी जारी की गई है। केंद्र सरकार ने एक योजना तैयार की है, जिसमें ग्रामीण क्षेत्रों में रहने वाले लोगों को एक एलईडी बल्ब 10 रुपए में दिए जाएंगे। कुछ राज्यों में इसे पायलट प्रोजेक्ट के तौर पर शुरू भी किया गया है।

नेशनल क्राइम इंटेलिजेंस भी कर रहा जागरूक

ठगी के इस नए मामले को लेकर नेशनल क्राइम इंटेलिजेंस ने सोशल मीडिया में एक सूचना भी जारी की है। 10 रुपए में एलईडी बल्ब बेचने के नाम पर लोगों के आधार कार्ड और फिंगर प्रिंट लिए जा रहे हैं। केंद्र सरकार की ओर से ऐसी कोई योजना जारी नहीं की गई है। यह ठगी का नया तरीका है।

आधार और फिंगर प्रिंट लेकर जालसाज लोगों के बैंक खातों से रकम उड़ा रहे हैं। ऐसे लोगों से सावधान रहें और कोई ऐसा करता है तो संबंधित थाने को तुरंत सूचना दें। कोई इस तरह की ठगी का शिकार हो गया है तो वो नजदीक के थाने में सूचना दर्ज कराएं। साइबर अपराधी ठगी की गई रकम एक स्थान पर नहीं रखते हैं। यह रकम तत्काल दूसरे खाते में ट्रांसफर कर दी जाती है। तुरंत सूचना मिलेगी तो रकम ट्रांसफर होने से बचाया जा सकता है।

खुद को बता रहे कर्मचारी

केंद्र सरकार की इसी योजना के तहत जालसाज लोगों से फ्रॉड कर रहे हैं। ऑनलाइन ठगी करने वाले खुद को बिजली कंपनी का कर्मचारी बताते हैं। एक झोलेनुमा बैग में वे एलईडी बल्ब रखे रहते हैं। कॉलोनी और बस्तियों में जाकर वे लोगों को बताते हैं कि उन्हें एक एलईडी बल्ब 10 रुपए में दिया जाएगा। इसके लिए वे लोगों से उनका आधार कार्ड और एक मशीन पर अंगूठे का निशान भी लेते हैं। सस्ता एलईडी बल्ब खरीदने के चक्कर में लोग न केवल अंगूठे का निशान लगाते हैं बल्कि आधार कार्ड की फोटो कॉपी भी देते हैं। मशीन में निशान लेने के बाद फ्रॉड करने वाले वहां से चले जाते हैं और कुछ मिनटों बाद ही लोगों के खाते से रकम गायब हो जाती है।

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